दो माताओं के एक पूत
वात्सल्य भाव के अग्रदूत
जिनकी शिशुता अब तक प्रमेय
हर गोदी में, हर गेह-गेह
माखन-चोरी, दधि दान, रास
जिनसे परिभाषित रस-विलास
वे अमर प्रेम के यश गायक
वृषभानु कुमारी के नायक
रुक्मिणी के पति,
वे महासमर के चिर-चरित्र
ब्रह्माण्ड दिखे जो मुँह खोलें
उपनिषद् सार गीता बोलें
यदुकुल की अथ-इति के प्रतीक
जिनकी वरेण्य है कृष्ण लीक..
ऐसे ब्रह्माण्ड नायक श्रीकृष्ण के जन्मोत्सव की सभी को शुभकामनायें |
Happy Krishna Janmashtami.